होम Haryana News ऑटोइम्यून त्वचा रोग है सफेद दाग, जानें इसके कारण व बचाव के...

ऑटोइम्यून त्वचा रोग है सफेद दाग, जानें इसके कारण व बचाव के उपाय

parmod kumar

0
381

World Vitiligo Day 2023 विटिलिगो से जुड़ी लोगों में बहुत ही गलत धारणा है कि यह प्रभावित व्यक्ति के घावों को छूने से एक व्यक्ति

World Vitiligo Day 2023: ऑटोइम्यून त्वचा रोग है सफेद दाग, जानें इसके कारण व बचाव के उपाय
 विटिलिगो एक ऑटोइम्यून त्वचा रोग है, जिसमें शरीर में रंगद्रव्य बनाने वाली कोशिकाएं, मेलानोसाइट्स नष्ट हो जाती हैं, जिससे त्वचा में वर्णक मेलेनिन का उत्पादन अनुपस्थित या कम हो जाता है, जिसके परिणामस्वरूप शरीर पर सफेद धब्बे हो जाते हैं जो लक्षण हीन होते हैं। दुनिया की कुल आबादी का 2% हिस्सा इस रोग से प्रभावित है और यह पुरुष और महिला दोनों को समान रूप से प्रभावित करता है। यह स्थिति न केवल रोगी को शारीरिक रूप से प्रभावित करती है, बल्कि रोगी के मानसिक और सामाजिक स्वास्थ्य पर भी बड़ा प्रभाव डालती है, इसलिए इन रोगियों को शिक्षित और जागरूक करना बहुत महत्वपूर्ण है। हर साल 25 जून को राष्ट्रीय विटिलिगो दिवस मनाया जाता है। इंदौर स्थित कोकिलाबेन धीरूभाई अंबानी अस्पताल की त्वचा रोग विशेषज्ञ डॉ. शीना कपूर इस रोग में बारे में यहां विस्तृत जानकारी दे रही है –

विटिलिगो के प्रकार

विटिलिगो के विभिन्न प्रकार होते हैं। 4 सामान्य रूप से होते हैं- फोकल, सेगमेंटल, लिप टिप और सामान्यीकृत विटिलिगो। फोकल में त्वचा का केवल एक विशेष क्षेत्र प्रभावित होता है, बाकी क्षेत्र प्रभावित नहीं होते हैं। इसके अलावा सेगमेंटल में शरीर का एक भाग या सेगमेंट ही प्रभावित होता है। वहीं लिप टिप विटिलिगो में होंठ और उंगलियों का ऊपरी हिस्सा प्रभावित होता है। सामान्यीकृत रूप में शरीर पर सफेद दाग हो जाते हैं।
विटिलिगो एक बहुक्रियात्मक स्थिति है। सबसे महत्वपूर्ण कारण आनुवंशिकी से जुड़ा है। इनमें से लगभग 20 फीसदी रोगियों का पारिवारिक इतिहास इस बीमारी से संबंधित होता है। थायराइड, मधुमेह जैसी अन्य ऑटोइम्यून स्थितियां भी इसके साथ जुड़ी हो सकती हैं। त्वचा पर बार-बार होने वाला घर्षण/आघात, धूप की कालिमा, तनाव, या विभिन्न रसायनों के संपर्क में आने से भी यह स्थिति हो सकती है।

विटिलिगो से जुड़ी गलत धारणा

विटिलिगो से जुड़ी लोगों में बहुत ही गलत धारणा है कि यह प्रभावित व्यक्ति के घावों को छूने से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकता है। यह बीमारी कभी भी छूने से नहीं फैलती है। प्रारंभिक और सटीक निदान बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, क्योंकि त्वचा पर सभी सफेद धब्बे विटिलिगो नहीं होते हैं। इसलिए, जब भी आप अपनी त्वचा पर कोई सफेद धब्बा देखें तो कृपया अपने त्वचा विशेषज्ञ से परामर्श लें, घर पर स्वयं उपचार न करें।

क्या विटिलिगो का उपचार?

जीवनशैली में सही बदलाव बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। तनाव के स्तर को कम करने के लिए दैनिक व्यायाम, हरी सब्जियों, फलों के साथ-साथ बादाम, अखरोट जैसे एंटीऑक्सीडेंट युक्त आहार आवश्यक है। इन रोगियों को परिवार द्वारा भावनात्मक और मानसिक समर्थन भी उतना ही आवश्यक है। इस बीमारी में उपचार आमतौर पर इसके प्रसार को रोकना है। आजकल उन्नत और प्रभावी उपचार के तौर-तरीके भी अपनाए जाते हैं जैसे- एक्जाइमर लेजर, फोटोथेरेपी और विटिलिगो सर्जरी, जिनके अच्छे परिणाम होते हैं।