परम संत बहादुर चंद वकील साहिब जी की संदिग्ध मृत्यु की जांच की मांग

0
28

परम संत बहादुर चंद वकील साहिब जी की संदिग्ध मृत्यु की जांच की मांग

सत्संग में शामिल हुए पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री दिल्ली के बाजितपुर ठाकरान में रविवार, 2 फरवरी 2025 को परम संत मैनेजर साहिब सेवा सोसायटी द्वारा सत्संग कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र कश्यप शामिल हुए। इस अवसर पर संगत और सेवा सोसायटी की ओर से एक ज्ञापन सौंपा गया, जिसमें परम संत बहादुर चंद वकील साहिब जी की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मृत्यु की निष्पक्ष जांच की मांग की गई।

संदिग्ध परिस्थितियों में हुई थी मृत्यु परम संत बहादुर चंद वकील साहिब जी, जो मस्ताना शाह बिलोचिस्तानी आश्रम डेरा जगमालवाली, तहसील कालांवाली, जिला सिरसा (हरियाणा) के गद्दीनशीन थे, उनकी 1 अगस्त 2024 को मैक्स हॉस्पिटल, दिल्ली में संदिग्ध परिस्थितियों में मृत्यु हो गई थी। आरोप है कि उनके ही ड्राइवर बीरेन्द्र ढिल्लो ने गद्दी हथियाने की नीयत से डॉक्टरों के साथ मिलीभगत कर गलत इलाज करवाया, जिससे उनकी मृत्यु हो गई। पार्थिव शरीर देखने पर प्रतीत हुआ कि मृत्यु 10 दिन पहले हो चुकी थी।

बाबा जी की धार्मिक और सामाजिक मान्यता परम संत बहादुर चंद वकील साहिब जी बिश्नोई जाट बिरादरी से थे और दिल्ली विधानसभा क्षेत्र में उनके दो प्रमुख आश्रम हैं – केशवपुरम, लॉरेंस रोड और बाजितपुर, आउटर दिल्ली। दिल्ली में उनकी संगत की संख्या लगभग 5 लाख मानी जाती है, जबकि पूरे भारत में 15 लाख से अधिक लोग उनसे जुड़े हुए हैं। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता स्वर्गीय श्री साहेब सिंह वर्मा और उनका परिवार भी बाबा जी के सेवक रहे हैं।

संगत की ओर से कानूनी कार्रवाई की मांग संगत ने आरोप लगाया कि बाबा जी के ड्राइवर बीरेन्द्र ढिल्लो के खिलाफ दिल्ली के विभिन्न पुलिस थानों में शिकायत दर्ज कराई गई थी, लेकिन अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। 1 सितंबर 2024 को जंतर मंतर, दिल्ली पर शांतिपूर्ण धरना प्रदर्शन कर राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपे गए, जिसमें मामले की निष्पक्ष जांच CBI और ED से करवाने की मांग की गई थी।

संगत द्वारा उठाई गई मुख्य मांगें:

  1. बाबा जी की हत्या की CBI से निष्पक्ष जांच करवाई जाए।
  2. आरोपी बीरेन्द्र ढिल्लो का लाई डिटेक्टर टेस्ट करवाया जाए।
  3. बीरेन्द्र और उसके परिवार द्वारा ट्रस्ट के धन से अर्जित संपत्ति की ED द्वारा जांच हो।
  4. ट्रस्ट की सभी संपत्तियों की खरीद-फरोख्त पर रोक लगाई जाए और बैंक खातों को फ्रीज किया जाए।
  5. संगत पर गोली चलाने वाले बीरेन्द्र और उसके साथियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो और उन्हें गिरफ्तार किया जाए।
  6. जांच पूरी होने तक ट्रस्ट के सभी आश्रमों और बैंक खातों का संचालन प्रशासन के उच्च अधिकारियों द्वारा किया जाए।
  7. बीरेन्द्र द्वारा पेश की गई वसीयत की फोरेंसिक जांच करवाई जाए, क्योंकि संगत का दावा है कि यह वसीयत फर्जी है।

पूर्व मुख्यमंत्री ने दिया समर्थन पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने संगत को आश्वासन दिया कि सरकार इस मामले को गंभीरता से लेगी और निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करेगी। उन्होंने कहा कि बाबा जी उच्च कोटि के संत थे और धार्मिक संस्थाओं पर ऐसे षड्यंत्र होते रहते हैं, लेकिन कानून से कोई भी बच नहीं सकता। सरकार संगत और मैनेजर साहिब सेवा सोसायटी के साथ है और हर संभव सहयोग प्रदान करेगी।

देश-विदेश की संगत इस मामले में शीघ्र न्याय की उम्मीद कर रही है।