आम आदमी के लिए एक और बुरी खबर है। पेट्रोल और डीजल के बाद रसोई गैस के दाम लगातरा बढ़े हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 25 फरवरी को घरेलू रसोई गैस के काम 25 रुपए प्रति सिलेंडर बढ़ा दिए गए। फरवरी में यह तीसरा मौका है जब रसोई गैस के दाम बढ़े हैं और आम आदमी को जनवरी के मुकाबले 100 रुपए प्रति सिलेंडर अधिक चुकाने पड़ रहे हैं। राजधानी दिल्ली में अब 14.2 केजी के घरेलू सिलेंडर की कीमत 794 रुपए हो गई है। वहीं पेट्रोल तथा डीजल के मोर्च पर गुरुवार को लगातार दूसरे दिन राहत रही और कीमतों में कोई बदलाव नहीं आया। हालांकि जनवरी से लगातार हो रही कीमतों में वृद्धि के बाद कुछ राज्यों में एक लीटर पेट्रोल की कीमत 100 रुपए पहुंच गई है। विपक्ष इस पर लगातार हंगामा कर रहा है। बीते तीन महीनों का हिसाब लगाएं तो रसोई गैस 200 रुपए प्रति सिलेंडर महंगी हुई है। रसोई गैस की कीमतें बढ़ने का सिलसिला 1 दिसंबर से शुरू हुआ था और अब तक चार बाद कीमतें बढ़ाई जा चुकी हैं।
1 दिसंबर: 594 रुपए से बढ़कर 644 रुपए
1 जनवरी: 644 रुपए से 694 रुपए
4 फरवरी: 644 रुपए से 719 रुपए
15 फरवरी: 719 रुपए से 769 रुपए
25 फरवरी: 769 रुपए से 794 रुपए
सरकारी तेल कंपनियां हर महीने की पहली तारीख को रसोई गैस की कीमतों की समीक्षा करती हैं। अंतर्राष्ट्रीय कीमतों के आधार पर नई कीमत तय होती है। वहीं सबसिडी सीधे खाते में डाली जाती है। कोरोना काल में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर खपत घटने से रसोई गैस के काम बहुत कम हो गए थे, लेकिन भारत में कीमतें कम नहीं की गई। इससे सरकार पर से सबसिडी को बोझ कम हो गया। लॉकडाउन के दौरान ऐसी स्थिति आ गई थी कि सरकार को घरेलू रसोई गैस पर सबसिडी जमा करने की जरूर नहीं पड़ी।