जम्मू-कश्मीर के राजौरी में आतंकवादियों के हमले में हरियाणा के हिसार के हांसी का निशांत मलिक शहीद हो गया। तीन बहनों का इकलौता भाई 21 वर्षीय निशांत मलिक करीब दो साल पहले ही सेना में भर्ती हुआ था। निशांत के पिता जयवीर मलिक भी कारगिल युद्ध में लड़ चुके हैं। उनके भी शरीर पर गोलियों के निशान हैं। पिता जयवीर मलिक ने बताया कि उन्हें दोपहर को बेटे के शहीद होने की सूचना मिली। निशांत अपने साथियों के साथ अटैक करने के लिए निकले तो पहले से ही घात लगाए हुए आतंकवादियों ने हमला कर दिया। इस हमले में वह और उसके 4 अन्य साथी शहीद हो गए। शहीद के पिता ने बताया कि बेटा करीब दो साल पहले ही आर्मी में भर्ती हुआ था। 18 जुलाई को वह 45 दिनों की छुट्टी काट कर वापस आर्मी कैंप गया था। निशांत ने अभी बीए फाइनल इयर की परीक्षा दी। बुधवार शाम को बेटे ने वीडियो कॉल की थी। गुरुवार सुबह उसकी बेटी ने निशांत को फोन किया, लेकिन उसने उठाया नहीं। इसके बाद दोबारा फोन किया, तब भी उसने रिसीव नहीं किया। उस समय मैं कैंट कैंटीन में सामान लेने के लिए गया था। पिता ने भावुक होते हुए बताया कि वहां पर ही उसे पता चला कि उसका बेटा शहीद हो गया। जयवीर मलिक ने बताया कि कारगिल युद्ध में गोली लगने पर उसे भी सेना ने सम्मानित किया। बेटे की भी इच्छा यहीं थी कि उसे भी सेना में सम्मान मिलें। जयवीर मलिक ने बताया कि उसकी तीन बेटियां है और एक बेटा था। बड़ी दो बेटियां की शादी हो चुकी है, जबकि छोटी बेटी की शादी दिसंबर-जनवरी में तय की जानी थी। अपनी बहन की शादी में गाड़ी देने के लिए उसने उसके नाम से एफडी भी करवाई थी, ताकि वह उसे गिफ्ट कर सके। जयवीर मलिक ने कहा कि उसे अपने बेटे की शहादत पर गर्व है। निशांत की शहादत की सूचना मिलने पर रक्षाबंधन के दिन ही पूरे क्षेत्र में मातम छा गया।
हरियाणा का जवान राजौरी में शहीद: दो साल पहले सेना में हुआ भर्ती
Parmod Kumar
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