हिसार: गत दिवस हिसार के केंद्रीय भैंस अनुसंधान संस्थान में गौरव नाम के क्लोन मुर्रा झोटे का जन्मदिन मनाया गया। केक काटा गया। गौरव का जन्म 11 दिसंबर 2015 को हिसार में हुआ था। अब यह 10 साल का हो गया है। गौरव के जन्मदिन के मौके पर संस्थान के पूर्व निदेशक डॉ. आरके सेठी, फिजियोलॉजी के पूर्व अध्यक्ष डॉ. एसके जिंदल, संस्थान के वर्तमान निदेशक डॉ. टीके दत्ता, डॉ. यशपाल शर्मा, प्रोजेक्ट के पीआई डॉ. पीएस यादव और उनकी पूरी टीम इकट्ठी हुई। गौरव का वजन 1 हजार किलो है। इसे रोजाना रिवर्स आॅस्मोसिस के पानी से नहाया जाता है।
उसे खाने में दलिया, चना, बाजरा और जौ आदि दिए जाते हैं। अब तक इस भैंसे ने सीमन की 22000 डोज का उत्पादन किया है। इन डोज का इस्तेमाल कृत्रिम गभार्धान के लिए किया गया। गौरव के सीमन से पैदा हुए 2 भैंसों ने अब तक 2 लाख से ज्यादा डोज उपलब्ध करवाई हैं। वहीं, इसकी डोज से पैदा हुईं भैंसों ने दूध उत्पादन में अच्छी खासी बढ़ोतरी की है। भैंसों ने प्रति ब्यांत 300 से 600 लीटर तक दूध दिया है।
झोटे के सीमन की चीन तक डिमांड
इसके सीमन की काफी डिमांड है। क्लोन प्रोजेक्ट इंचार्ज पीउस यादव के मुताबिक चीन भी उसके सीमन को खरीदने के लिए 2019 से प्रयास कर रहा है, लेकिन रिश्ते ठीक न होने पर केंद्र सरकार ने अप्रूवल नहीं दी है।
झोटे की डाइट
झोटे को वजन के हिसाब से दाना-पानी दिया जाता है। इसे एक बार में 5 किलो दाना और हरा चारा दिया जाता है। इसके अलावा प्रोटीन की मात्रा का भी डाइटीशियन ध्यान रखता है। झोटे को दिन में एक बार आरओ के पानी से नहलाया जाता है।
गौरव के सीमन के 22 हजार डोज बनाकर किए जा चुके इस्तेमाल
हिसार गौरव के एक सीमन डोज की कीमत 500 रुपए है। एक डोज में 0.25 एमएल का स्ट्रॉ होता है। इसमें 2 करोड़ स्पर्म सेल्स होते हैं। अब तक गौरव से 22 हजार डोज बनाकर इस्तेमाल किए जा चुके हैं।