सोहना-मानेसर-खरखौदा के रास्ते पलवल से सोनीपत तक जाने वाले हरियाणा ऑर्बिटल रेल कॉरिडोर को मंगलवार को केंद्र सरकार की मंजूरी मिल गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आज हुई कैबिनेट के वित्तीय मामलों की कमेटी की बैठक में करीब 5,600 करोड़ रुपये की इस परियोजना को मंजूरी प्रदान की गई। यह रेल लाइन हरियाणा के पलवल से शुरू होकर हरसाना कलां स्टेशन तक जाएगी जो दिल्ली-अंबाला सेक्शन पर स्थित है। रास्ते में यह दिल्ली-रेवाड़ी लाइन पर स्थित पाटली स्टेशन, गढ़ी हर्षरू-फारुखनगर लाइन पर सुल्तानपुर स्टेशन और दिल्ली-रोहतक लाइन पर असौधा स्टेशन को भी जोड़ेगी। इस परियोजना का काम हरियाणा रेल अवसंरचना विकास निगम पूरा करेगी जो रेल मंत्रालय और हरियाणा सरकार का संयुक्त उपक्रम है। इसमें निजी निवेश भी शामिल किया जाएगा। परियोजना का काम पांच साल में पूरा किया जाएगा और इसकी अनुमानित लागत 5,617 करोड़ रुपये है। रेल मंत्रालय ने बताया कि हरियाणा ऑर्बिटल रेल गलियारे के बनने से पलवल से सोनीपत जाने वाली ट्रेनें दिल्ली को बाईपास कर बाहर-बाहर ही निकल जाएंगी। इससे दिल्ली के रेल मार्गों पर यातयात का बोझ कम होगा। इस रेल लाइन पर रोजाना 20 हजार यात्रियों के सफर करने तथा सालाना पांच करोड़ टन माल ढुलाई का अनुमान है। यह गलियारा पश्चिमी पेरिफेरल एक्सप्रेस-वे के साथ बनाया जाएगा। इसे दिल्ली से चलकर हरियाणा के रास्ते जाने वाले सभी रेलमार्गों और समर्पित मालवहन कॉरिडोर से भी जोड़ा जाएगा। इससे हरियाणा के पलवल, नूंह, गुरुग्राम, झज्जर और सोनीपत जिलों को लाभ होगा। इस परियोजना से इन जिलों का और अधिक विकास होगा। वहां बहुराष्ट्रीय कंपनियों के लिए विनिर्माण इकाइयां स्थापित करने में आसानी होगी तथा ‘मेक इन इंडिया’ को बढ़ावा मिलेगा।
हरियाणा ऑर्बिटल रेल कॉरिडोर को मोदी कैबिनेट की हरी झंडी, परियोजना से गुरुग्राम को होगा ‘बड़ा’ फायदा
Bhawana Gaba