हरियाणा में एक बार फिर से मौसम का मिजाज बदलने वाला है. मौसम विभाग की मानें तो प्रदेश में 7 अगस्त तक बारिश के आसार है. बंगाल की खाड़ी पर बने साइक्लोनिक सर्कुलेशन व मानसून टर्फ का पाश्चिमी छोर उत्तर की तरफ बढ़ने की संभावना से हरियाणा में मौसम आमतौर पर 7 अगस्त तक परिवर्तनशील रहने की संभावना है. वीरवार को राज्य के पाश्चिमी क्षेत्रों में आंशिक बादलवाई व कुछ एक स्थानों पर हल्की बारिश मगर उत्तरी व दक्षिणी क्षेत्रों में हल्की से मध्यम बारिश तथा हवा व गरजचमक के साथ 6 व 7 अगस्त को राज्य के ज्यादातर क्षेत्रों में बारिश होने की संभावना है.
मौसम विज्ञानियों की मानें तो आने वाले दिनों में प्रदेश में कुछ स्थानों पर बारिश देखने को मिल सकती है. 7 अगस्त तक तक बारिश के लिए मौसम विज्ञानियों ने अलर्ट किया हुआ है. जगह-जगह बारिश को लेकर कृषि मौसम विज्ञान विभाग ने बताया कि मानसून में बादलों का चलन हवाओं के साथ तेज होता है. यह बादल कहीं सक्रिय होते हैं तो कहीं नहीं, यही कारण है कि बारिश कुछ-कुछ क्षेत्रों में हो रही है.
बारिश ने बीते 11 साल का रिकॉर्ड तोड़ा
पानीपत में बारिश ने बीते 11 साल का रिकॉर्ड तोड़ा है. अब तक पानीपत में 338 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है. बुधवार को दिन की शुरूआत तेज धूप के साथ हुई. जिस कारण अधिकतम तापमान में 2 डिग्री सेल्सियस की बढ़ोत्तरी हुई है. हालांकि 14 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से चल रहीं हवाओं ने गर्मी से कुछ राहत दिलाई.
जलभराव लोगों के लिए परेशानी बना
हरियाणा में 13 जून को ही मानसून ने दस्तक दे दी थी. एक महीने की देरी से आने के बाद भी इस बार मानसून की बारिश ने 11 साल का रिकॉर्ड तोड़ा है. पानीपत में अब तक 338 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है. जो सामान्य से 56 प्रतिशत ज्यादा है. बारिश ने लोगों को गर्मी और उमस से तो रहा दिलाई, लेकिन जलभराव लोगों के लिए परेशानी बना है. बारिश से जहां धान की फसल को फायदा हुआ वहीं, सब्जी की फसल खराब हो रही है.