एक्सप्रेस-वे पर बुधवार की रात को चलती बस में आग लगने से जिंदा जली दोनों महिलाओं के शवों का वीरवार को पोस्टमार्टम कराया गया। दोनों की उम्र 24 साल व 28 साल बताई गई है। वहीं इस आगजनी के दौरान लापता हुई पांच साल की बच्ची दीपाली का कोई सुराग दूसरे दिन भी नहीं लगा। हालांकि पहले एक बच्ची व एक महिला की मौत की बात कही गई थी, लेकिन पोस्टमार्टम करने वाले डाक्टर दीपक माथुर ने बताया कि मरने वाली दोनों व्यस्क महिलाएं थी।
बुधवार रात करीब 9 बजे आंध्रप्रदेश नंबर की एक प्राइवेट बस सेक्टर-12, गुरुग्राम से 43 सवारियों को लेकर राहट जिला हमीरपुर (उत्तर प्रदेश) के लिए रवाना हुई थी। बस में अधिकतर मजदूर सवार थे, जो कि अपने साथ कपड़े, घरेलू सामान, बर्तन, सिलेण्डर इत्यादि सामान लिए हुए थे। जब यह बस सेक्टर-31 के सामने फ्लाईओवर पर पहुंची तो बस में आग लग गई थी। बस में आग लगने की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और फायर ब्रिगेड, एम्बूलेंस आदि को बुलाकर राहत कार्य में जुट गई। इस दौरान पुलिस कमिश्नर विकास अरोड़ा व जिला उपायुक्त निशांत यादव भी मौके पर पहुंचे।
इससे पहले सभी घायलों को बस से निकाल लिया गया था। वहीं आग की चपेट में आने से दो महिलाओं की मौत हो चुकी थी, जिनकी पहचान माया पत्नी विनोद गांव राढ जिला हमीरपुर, उत्तर-प्रदेश व गायत्री पत्नी बलू गांव गोरखा थाना चरकारी जिला महोबा के रूप में हुई है। जबकि इस आगजनी में 13 लोग झुलस गए थे। वहीं एक बच्ची अभी तक लापता है। वीरवार शाम को बच्ची के पिता दिनेश ने बताया कि उसकी बेटी दीपाली नहीं मिली है। वह बस से उसे निकाल नहीं पाया। किसी और ने उसे निकाला है तो उसे सूचना दें।