हरियाणा में बिजली संकट: थर्मल प्लांटों से बिजली का पूरा उत्पादन न होने से बढ़ी दिक्कत

Parmod Kumar

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हरियाणा में एक बार फिर से बिजली का संकट बढ़ रहा है। यमुनानगर और खेदड़ थर्मल पावर प्लांटों की यूनिटें बिजली का पूरा उत्पादन नहीं कर पा रही हैं। वहीं झज्जर के झाड़ली गांव में स्थित इंदिरा गांधी सुपर थर्मल पावर प्लांट की एक यूनिट में तकनीकी खराबी आई हुई है। जिससे 500 मेगावाट बिजली उत्पादन वाली यूनिट बंद है। हालांकि इस यूनिट को ठीक करने का कार्य चल रहा है। जिससे रविवार या सोमवार से उत्पादन शुरू होने की उम्मीद है। जब थर्मल पावर प्लांट से पूरा बिजली उत्पादन शुरू होगा उसके बाद प्रदेश वासियों को एक बार फिर से राहत मिलने की उम्मीद है। झज्जर जिले में बिजली उत्पादन के लिए 15 मेगावाट का इंदिरा गांधी सुपर थर्मल पावर प्लांट झाड़ली में और 1320 मेगावॉट का महात्मा गांधी सुपर थर्मल पावर प्रोजेक्ट खानपुर खुर्द में स्थित है। जिले में पिछले करीब चार-पांच दिनों से बिजली के अघोषित कट बढ़ गए है और 5 से 6 घंटे के अघोषित कर लगाए जा रहे हैं। चाहे वह शहरी क्षेत्र हो या ग्रामीण क्षेत्र। अगर दोनों थर्मल पावर प्लांटों की पांच यूनिट पूरी क्षमता पर चलें तो झज्जर जिले के दोनों थर्मल प्लांटों से 2820 मेगावाट बिजली का उत्पादन होता है। झाड़ली में 1500 मेगावाट की तीन यूनिट हैं और खानपुर खुर्द में 1320 मेगावाट की ओ यूनिट हैं। झज्जर के इंदिरा गांधी सुपर थर्मल पावर प्रोजेक्ट 700 मेगावाट बिजली दिल्ली व 700 मेगावाट बिजली हरियाणा को मिलती है, जबकि 100 मेगावाट बिजली डिमांड के अनुसार अन्य प्रदेशों को दी जाती है। खानपुर खुर्द के महात्मा गांधी सुपर थर्मल पावर प्रोजेक्ट से 1320 मेगावाट बिजली केवल हरियाणा को मिलती है।