रिश्तों की हकीकत: जया किशोरी ने बताया क्यों प्यार और चांद दूर से अच्छे लगते हैं

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रिश्तों की हकीकत: जया किशोरी ने बताया क्यों प्यार और चांद दूर से अच्छे लगते हैं

 

 

रिश्तों की हकीकत: जया किशोरी ने बताया क्यों प्यार और चांद दूर से अच्छे लगते हैं

शुरुआती प्यार और बाद के बदलाव

प्रसिद्ध कथा वाचक और मोटिवेशनल स्पीकर जया किशोरी अपने गहरे विचारों और जीवन से जुड़ी सीखों के लिए जानी जाती हैं। हाल ही में उन्होंने एक महत्वपूर्ण बात कही – “चांद हो या प्यार, दोनों दूर से ही अच्छे लगते हैं।” यह कथन रिश्तों की सच्चाई को दर्शाता है, जहां शुरुआत में प्यार और देखभाल अधिक होती है, लेकिन समय के साथ रिश्ते में बदलाव आने लगते हैं।

शुरुआत में ज्यादा प्यार, बाद में क्यों बदल जाता है व्यवहार?

किसी भी रिश्ते की शुरुआत में लोग एक-दूसरे को खूब प्यार और सम्मान देते हैं। छोटे-छोटे प्रयासों से अपने साथी को खुश करने की कोशिश करते हैं। लेकिन जैसे-जैसे रिश्ता आगे बढ़ता है, वैसा-वैसा यह व्यवहार बदलने लगता है। प्यार जताने की कोशिशें कम हो जाती हैं और शिकायतें बढ़ने लगती हैं। यही कारण है कि आजकल कई जोड़े शादी के 20-25 साल बाद तलाक लेने लगे हैं।

रिश्तों में इस बदलाव की वजह क्या है?

  1. एक-दूसरे को हल्के में लेना – समय के साथ लोग अपने पार्टनर की अहमियत भूलने लगते हैं।
  2. कम्युनिकेशन की कमी – रिश्तों में बातचीत की कमी कई गलतफहमियों को जन्म देती है।
  3. रिश्ते में आकर्षण की कमी – शुरुआत में जो उत्साह होता है, वह समय के साथ कम हो जाता है।
  4. सपनों और उम्मीदों का टूटना – शादी के बाद बहुत से लोगों की उम्मीदें अधूरी रह जाती हैं, जिससे निराशा होती है।
  5. अहंकार और दोषारोपण – जब रिश्ते में प्यार की जगह अहंकार और एक-दूसरे को दोष देने की आदत आ जाती है, तो रिश्ता कमजोर होने लगता है।

रिश्ते को मजबूत बनाने के लिए जया किशोरी के टिप्स

  • छोटी-छोटी चीजों में खुशियां ढूंढें – अपने साथी की छोटी कोशिशों की सराहना करें।
  • कम्युनिकेशन को बनाए रखें – अगर कोई समस्या हो तो खुलकर बात करें।
  • पार्टनर को हल्के में न लें – प्यार जताने के लिए कभी-कभी सरप्राइज दें।
  • साथ में समय बिताएं – मोबाइल और सोशल मीडिया से दूर रहकर एक-दूसरे पर ध्यान दें।
  • ईगो को छोड़ें – रिश्तों में ‘मैं’ की जगह ‘हम’ को अपनाएं।

प्यार को हर दिन संवारें

रिश्तों को खूबसूरत बनाए रखना एक निरंतर प्रयास है। जया किशोरी का यह कथन हमें यह सीख देता है कि प्यार को केवल दूर से देखने की चीज न बनने दें, बल्कि उसे हर दिन संवारें और निभाएं। प्यार को बनाए रखना उतना ही जरूरी है जितना उसे पाना।