मंडी में बिक गया तीन लाख क्विंटल धान, सरकारी खरीद सिर्फ 40 हजार

lalita soni

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Three lakh quintals of paddy was sold in the market, government purchased only 40 thousand जिले में धान खरीद अब तक तेजी नहीं पकड़ सकी है। जिले में खोले गए 161 केंद्रों में 16 पर अब तक एक दाना भी खरीद नहीं हो सकी है। शेष केंद्रों पर भी सिर्फ 40 हजार क्विंटल खरीद हुई है। इसके विपरीत शहर की मंडी में खुली बोली में तीन लाख क्विंटल धान खरीदा जा चुका है। ऐसे में अब शून्य खरीद करने वाले केंद्रों को डीएम की ओर से नोटिस जारी किया गया है।
जिले में तीन अक्तूबर से धान की खरीद शुरू की गई थी। इसके लिए शासन से मिले तीन लाख मीट्रिक टन लक्ष्य को पूरा करने के लिए अलग-अलग एजेंसी के 161 केंद्रों को खोला गया।
मौजूदा समय में जिले में करीब 35 प्रतिशत धान की कटाई होने के बाद मंडी में खुली बोली में तीन लाख क्विंटल धान की बिक्री हो चुकी है। वहीं सरकारी खरीद पर नजर डालें तो 145 केंद्रों पर महज 40 हजार क्विंटल ही खरीद हुई है।
ऐसे में शासन से मिले लक्ष्य को भेद पाना मुश्किल नजर आ रहा है। शहर की मंडी में आ रहा अधिकतर धान आढ़तियों के यहां उतर रहा है। सरकारी सेंटर के कर्मचारी बता रहे हैं किसान जो धान ला रहे हैं उसमें नमी ज्यादा है। जबकि आढ़ती नमी वाला धान सस्ते में ले रहे हैं।
राइस मिलों पर हो रही अधिक खरीद
मंडी में खुली बोली में धान खरीदने के साथ ही राइस मिलों पर भी इस समय जमकर खरीद हो रही है। सुबह से शाम तक ट्रैक्टर ट्राॅली लाइन लगाकर खड़े रहते हैं। शासन के नियमानुसार राइस मिल मालिक किसानों से धान खरीद कर 15 दिनों में प्रपत्र मंडी में जमा करेंगे ताकि उनका मंडी शुल्क माफ हो सके। मंडी में इस तरह शहर में संचालित 30 राइस मिलों का 6 लाख रुपये से अधिक का मंडी शुल्क बना है। यह माफ होना है। इसके अलावा कई राइस मिलों की ओर से अभी कोई सूचना नहीं दी गई है।
खुली बोली में बुधवार को बिका 1750 रुपये प्रति क्विंटल धान
बुधवार को मंडी समिति में खुली बोली में धान की बिक्री 1680 से 1750 रुपये प्रति क्विंटल की दर से हुई। इससे पहले धान का भाव 18 सौ रुपये तक गया था। बारिश होने के कारण धान में नमी बढ़ जाने के कारण बोली में कमी आई है। यहां बता दें कि धान का सरकारी मूल्य 2183 रुपये है।
शून्य खरीद करने वाले केंद्र प्रभारी पर करें कार्रवाई
धान खरीद के 15 दिन बीत जाने के बाद भी जिले में खोले गए पीसीयू के 47 केंद्रों में 14 पर खरीद शुरू नहीं हो सकी है। इसी तरह यूपीएसएस के 11 केंद्रों पर भी धान की खरीद शुरू नहीं हुई है। शून्य खरीद को देखते हुए जिलाधिकारी प्रवीण कुमार ने दोनों संस्थाओं के जिला प्रबंधकों को पत्र भेज कर संबंधित केंद्रों पर धान खरीद आरंभ करते हुए केंद्र प्रभारी पर दंडात्मक कार्रवाई करते हुए अपर जिलाधिकारी को रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं।
जिले में 16 क्रय केंद्रों पर धान की खरीद शुरू नहीं हो सकी है। इनको जिलाधिकारी की ओर से नोटिस जारी किया गया है। जिला प्रबंधकों से केंद्र प्रभारियों पर कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। 15 दिनों में सेंटरों पर 40 हजार क्विंटल धान की खरीद की गई है।