प्रदेश में विरोध-प्रदर्शनों के दौरान सरकारी व निजी प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाने वालों से ही भरपाई की जाएगी। इसके लिए सोमवार को गृह मंत्री अनिल विज विधानसभा में संपत्ति क्षति वसूली विधेयक-2021 पेश करेंगे। इसके अनुसार, यदि कोई व्यक्ति प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाता है तो हर्जाना उसी से वसूला जाएगा। हर्जाना न देने पर जेल के साथ जुर्माना भी हो सकता है। सूत्रों का कहना है कि इसमें अधिकतम 3 साल की जेल और एक लाख तक के जुर्माने का प्रावधान किया गया है। हालांकि, सरकार इसे कम ज्यादा भी कर सकती है। उत्तर प्रदेश में भी ऐसा कानून बन चुका है। उसी कानून का अध्ययन करने के बाद विधेयक का ड्राफ्ट तैयार किया गया है। दरअसल, आंदोलनों में सरकारी और प्राइवेट प्रॉपर्टी संपत्ति ही आंदोलनकारियों के निशाने पर रहती है। भाजपा सरकार के पहले कार्यकाल में भी ऐसा कानून बनाने की कोशिश हुई थी।