हरियाणा विधानसभा में मंत्रियों ने क्या-क्या उत्तर दिये, देखिये पूरी जानकारी

Parmod Kumar

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हरियाणा सरकार महेंद्रगढ़ जिला के मंडोला-नारनौल स्टेट हाईवे का निर्माण कार्य जल्द शुरू करेगी। इसके अलावा, दादरी-महेंद्रगढ़ रोड़ की चौड़ाई 7 मीटर से बढ़ाकर 10 मीटर की जाएगी तथा इसको फोर-लेन किया जाएगा। यह जानकारी हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने आज हरियाणा विधानसभा सत्र के दौरान एक विधायक द्वारा पूछे गए सवाल के जवाब में दी। डिप्टी सीएम, जिनके पास लोक निर्माण विभाग का प्रभार भी है, ने सदन को बताया कि प्रस्तावित मंडोला-नारनौल रोड़ नैशनल हाईवे था। राज्य सरकार ने केंद्र सरकार को पत्र लिखा जिसमें इस रोड़ को डी-नोटिफाई करने का अनुरोध किया ताकि राज्य सरकार इसको स्टेट हाईवे के तौर पर निर्मित कर सके। इसके बाद केंद्र सरकार ने 18 जून 2020 को डी-नोटिफाई कर दिया। हालांकि अभी तक राज्य सरकार को अधिकारिक रूप से केंद्र सरकार द्वारा सौंपा नहीं गया है फिर भी प्रदेश सरकार ने स्पेशल पैकेज से पैच-वर्क शुरू कर दिया है जो अगले महीने के अंत तक हो जाएगा। एक अन्य प्रश्न के जवाब में दुष्यंत चौटाला ने बताया कि दादरी-महेंद्रगढ़ रोड़ को फोर-लेन किया जाएगा। जब तक फोर-लेन नहीं बन जाता तब तक इसकी चौड़ाई 7 मीटर से बढ़ाकर 10 करने के लिए पैच वर्क हेतु राज्य सरकार ने 17.70 करोड़ रूपए मंजूर किए हैं। हरियाणा के खेल एवं युवा मामले राज्यमंत्री सरदार संदीप सिंह ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा पैरालम्पिक व पैरा एथलेटिक्स खिलाडिय़ों को भी सामान्य श्रेणी की तरह प्रोत्साहन व नौकरियां दी जाएंगी। इन खिलाडिय़ों को प्रोत्साहित करने के लिए मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने एक बार फिर से खेल नीति में बदलाव किया है। इससे खिलाडिय़ो को बहुत फायदा मिलेगा। उन्होंने कहा कि सरकार की घोषणा अनुसार खेलों के लिए बनाई गई नीति अब पैरालम्पिक और पैरा एथलेटिक्स के लिए समान रूप से लागू होगी और इन श्रेणी के खिलाडिय़ों को वह सब सुविधाएं मिलेंगी जो सामान्य श्रेणी के खिलाडिय़ों को मिलती हंै। खेलमंत्री  सरदार संदीप सिंह ने खेल नीति में बदलाव करने पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि 24 फरवरी, 2021 को पैरालम्पिक व पैरा एथलेटिक्स खिलाडिय़ों ने खेल नीति के तहत सामान्य श्रेणी के समान लाभ देने की मांग रखी थी। मुख्यमंत्री ने खिलाडिय़ों की इस मांग को तुरंत स्वीकार कर खिलाडिय़ों को प्रोत्साहित करने का काम किया है। इस मांग के अनुसार प्रदेश की खेल नीति में एक बार फिर बदलाव कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि अब पैरालम्पिक और पैरा एथलेटिक्स खिलाडिय़ों को भी सामान्य श्रेणी में रखा गया है और ओलम्पिक, एशियाई व कॉमनवेल्थ जैसी प्रतियोगिताओं में पदक जीतने पर इन खिलाडिय़ों को सामान्य श्रेणी की तर्ज पर प्रथम श्रेणी की नौकरी प्रदान की जाएगी।
हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जे.पी.दलाल ने आज कहा कि प्रदेश के सभी जिलों में समान रूप से सिंचाई के पानी की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए ठोस कदम उठाने के साथ-साथ हर क्षेत्र में रोटेशन कार्यक्रम के अनुसार चैनलों में पानी छोड़ा जा रहा है ताकि किसी भी क्षेत्र में सिंचाई के लिए पानी की कमी न रहे और किसानों को कोई परेशानी न हो। यह जानकारी कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जे.पी.दलाल ने आज यहां विधानसभा सत्र के दौरान विधायिका किरण चौधरी द्वारा पानी की किल्लत के संबंध में लाए गए एक ध्यानाकर्षण प्रस्ताव का जवाब देते हुए दी।उन्होंने कहा कि हरियाणा को दो स्त्रोतों नामत: भाखड़ा जलाशय एवं यमुना नदी से जल आपूर्ति प्रदान की जाती है। लेकिन वर्ष 2020 में मानसून के दौरान भाखड़ा जलाशय अपनी अधिकतम क्षमता 1680 फुट में से 1659.61 फुट ही भर पाया जोकि उसकी भराव क्षमता का 80 प्रतिशत है। सतलुज और रावी ब्यास पानी के लिए सितम्बर,2020 को हरियाणा का हिस्सा 1480300 क्यूसिक दिन का है। जिसका उपयोग मई, 2021 तक जलाशय की रिक्तिकरण अवधि समाप्त होने तक किया जाएगा। इसी प्रकार, 7860 क्यूसिक के सामान्य हिस्से के मुकाबले औसत दैनिक हिस्सा 6117 क्यूसिक है। उन्होंने कहा कि हरियाणा ने पश्चिम यमुना नहर प्रणाली के मौजूदा चार समूहों को चलाकर रबी फसलों की बुवाई के लिए अक्तूबर एवं नवम्बर के महीनों में औसत हिस्सेदारी से अधिक पानी प्रयोग किया गया है। संग्रहित पानी की विकट कमी के कारण हरियाणा में टेल भाखड़ा मेन लाइन सिस्टम को मौजूदा 16 दिनों के रोटेशन वाले दो समूहों से 8 दिनों के रोटेशन की अवधि वाले तीन समूहों में परिवर्तित किया है। इसके अतिरिक्त, यमुना नदी का इनफ्लो भी लगभग 1000 क्यूसिक तक कम हो गया है। उन्होंने कहा कि इस बार सर्दियों के मौसम में वर्षा कम हुई और सिंचाई के मुकाबले जल घर टैंक और ग्राम तालाबों को भरने के लिए प्राथमिकता दी गई। मंत्री ने कहा कि सिंचाई विभाग द्वारा सिंचाई के अतिरिक्त जनस्वास्थ्य विभाग, हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण, शहरी स्थानीय निकाय विभाग, एचएसआईआईडीसी, थर्मल रिफाइनरी और उद्योगों को पीने के पानी की आपूर्ति भी की जाती है। इसके अतिरिक्त, सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार दिल्ली के लिए 1050 क्यूसिक पानी की नियमित आपूर्ति की जा रही है। गुरुग्राम में पीने के लिए 420 क्यूसिक पानी की नियमित आपूर्ति की जा रही है। हरियाणा के लिए सतलुज एवं राबी ब्यास के पानी का शेष हिस्सा पहली मार्च, 2021 को 337614 क्यूसिक जबकि औसत दैनिक हिस्सा 4168 क्यूसिक है। उन्होंने कहा कि 2019-20 के दौरान कुल जल आपूर्ति 1805854 क्यूसिक थी जिसमें से भाखड़ा बांध से 1274048 क्यूसिक और यमुना नदी से 531806 क्यूसिक थी जबकि वर्ष 2020-21 में यह घट कर 1446281 क्यूसिक रह गई है जिसमें से भाखड़ा बांध से 1186687 क्यूसिक और यमुना नदी से 259594 क्यूसिक थी। इससे स्पष्टï है कि वर्ष 2020-21 के दौरान यमुना से पानी की कुल उपलब्धता घट कर 50 प्रतिशत हो गई है।
क्षेत्रवार आबंटन की स्थिति का जिक्र करते हुए मंत्री ने बताया कि इसीप्रकार वर्ष 2019-20 के दौरान भाखड़ा बांध और यमुना से  मूनक में पानी की कुल उपलब्धता 705232 क्यूसिक थी जबकि 2020-21 में यह घट कर 497500 क्यूसिक रह गई, जिससे स्पष्टï है कि मूनक में पानी की कुल उपलब्धता में 29.45 प्रतिशत की कमी आई है। इसके अतिरिक्त, जुई फीडर के कमान क्षेत्र मोहला हैड से गुजरानी माईनर यानि सुंदर उपशाखा की बुर्जी संख्या 121361 पर 2019-20 में अक्तूबर से फरवरी मास तक की अवधि में कुल 99466 क्यूसिक पानी छोड़ा गया जबकि 2020-21 में इसी अवधि के दौरान 63648 क्यूसिक पानी छोड़ा जा सका है। इससे स्पष्ट है कि मूनक हैड पर पानी की कुल उपलब्धता का 13 प्रतिशत मोहला हैड के लिए 2020-21 में अक्तूबर से फरवरी के बीच जारी किया गया जबकि 2019-20 में यह 14 प्रतिशत था। भिवानी क्षेत्र का जिक्र करते हुए मंत्री ने बताया कि भिवानी क्षेत्र में अक्तूबर, 2019 से जनवरी, 2020 के दौरान कुल 183484 हैक्टेयर मेें से लगभग 156826 हैक्टेयर क्षेत्र की सिंचाई हुई जो कि 85.47 प्रतिशत है। इसीप्रकार, इस क्षेत्र में अक्तूबर, 2020 से जनवरी, 2021 के दौरान कुल 183484 हैक्टेयर में से लगभग 155210 हैक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई हुई जोकि 84.59 प्रतिशत है। इससे स्पष्टï है कि यमुना नदी के प्रवाह में 50 प्रतिशत की कमी के बावजूद चैनलों का इस तरह से प्रावधान किया गया है कि अधिकतम क्षेत्र कमांड के तहत आ जाएं। इस आपूर्ति के साथ ही प्रत्येक बार 308 जलघर टैंकों को भी भरा गया। चैनल का अधिकृत क्षमता ही उसकी स्वीकृत क्षमता होती है जिसकी गणना 2.40 क्यूसिक प्रति हजार एकड़ क्षेत्र के मापदण्ड पर की जाती है, इसके साथ नहर संचारण में विभिन्न जल प्रवाह क्षतियों तथा स्वीकृत जलघर टैंकों, तालाबों और भविष्य के विकास के लिए 10 प्रतिशत हिस्सा जोड़ा जाता है। उन्होंने बताया कि सुंदर समूह की बुर्जी संख्या 121361 पर मोहला हैड पर सुंदर ग्रुप का अधिकृत निष्कासन 1215 क्यूसिक है। अक्तूबर, 2020 से फरवरी, 2021 की अवधि में सिवाए जनवरी एवं फरवरी के कुछ दिन छोड़ कर जिसमें यमुना नदी में पानी की कमी रही है, मोहला हैड पर पानी की आपूर्ति इस समूह की अधिकृत क्षमता, जोकि 1215 क्यूसिक है से अधिक रही है। इसके अलावा, 2300 क्यूसिक निष्कासन की मांग/इंडेट को केवल अतिरिक्त आपूर्ति के मामले में पूरा किया जा सकता है जो 2020-21 के दौरान उपलब्ध नहीं है। कैरू, बीरन, रिवासा, कुसुंभी, धानी महू, बजिना, बपोरा, सिवानी, जुई, बेहल और तोशाम गांवों के क्षेत्र सुन्दर सब ब्रांच बुर्जी संख्या 121361 से पानी प्राप्त करते हैं। यमुना नदी में पानी की कम उपलब्धता के कारण इन क्षेत्रों की कुछ माईनर पर पानी आपूर्ति नहीं की जा सकी लेकिन अत्यंत कमी के बावजूद, चैनल इस तरह से चलाए गए कि इन क्षेत्रों में सभी जलघर टैंक लगभग भरे गए हैं। परन्तु जुई और निगाना प्रणाली के पानी के टैंकों को उनकी क्षमता का 50 प्रतिशत से अधिक तक भरा गया। इसके इलावा, इन क्षेत्रों में जानवरों की प्यास बुझाने के लिए लगभग 234 गांव के तालाब भी भरे गए है।
मंत्री ने बताया कि अनुमोदित रोटेशनल प्रोग्राम के अनुसार राज्य में सभी जिलों को समान आधार पर पानी की आपूर्ति की जा रही है। हालांकि, सिंचाई विभाग के प्रमुख चैनल एक से अधिक जिलों से होकर गुजरते हैं और चैनल के हेड पर डिस्चार्ज/गेज को मापा जाता है जबकि चैनल का हिस्सा/अंतिम छोर विभिन्न जिलों/जिले में खत्म हो सकती है। इसलिए किसी विशेष जिले में वितरित किए जा रहे निर्वहन के स्टीक माप का आकलन नहीं किया जा सकता है। हरियाणा के स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि प्रदेश में विशेषज्ञ चिकित्सकों की कमी को पूरा करने के लिए स्पेलिस्ट डॉक्टर्स का अलग कॉडर बनाया जाएगा। विज ने आज हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र के दौरान एक प्रश्न के उत्तर में बोलते हुए कहा कि हमारी सरकार शीघ्र ही 400 से 500 चिकित्सकों की भर्ती करेगी, जिससे राज्य के सभी अस्पतालों में डॉक्टर्स की कमी को पूरा किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि राज्य में चिकित्सकों के लगभग 4800 स्वीकृत पद हैं, जिनमें से वर्तमान में 1141 पद रिक्त हैं। इनमें से करीब 200 डॉक्टर्स चंडीगढ़ में कार्यरत हैं। इसके लिए उन्होंने विभाग को चंडीगढ़ में कार्यरत चिकित्सकों के पदों को अलग से स्वीकृत करवाने के आदेश दिए हैं ताकि चंडीगढ़ में 40:60 के अनुपात में भेजे जाने वाले डॉक्टर्स की कमी को दूर किया जा सके। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि वर्ष 2014 के बाद प्रदेश में स्वास्थ्य विभाग में आमूल-चूल परिवर्तन हुए हैं, जिसके चलते राज्य में वर्ष 2014 की तुलना में मातृत्व मृत्यु दर (एमएमआर) 127 से घटकर अब 91, एनएमआर 26 से घटकर 22, आईएमआर 41 से घटकर 30 हो गया है। इसके अलावा, प्रदेश में लिंगानुपात में भी सुधार हुआ है जोकि 868 से बढक़र 918 तक पहुंच गया है। विज ने बताया कि प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र हसनपुर, होडल के भवन के नवीनीकरण का प्रस्ताव प्रक्रियाधीन है। उन्होंने कहा कि फतेहाबाद शहर में 200 बिस्तरों के अस्पताल के निर्माण के लिए 14.75 एकड़ भूमि हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण द्वारा उपलब्ध करवाई गई है। इस अस्पताल की ड्राईंग का अनुमोदन किया जा चुका है। इस सम्बंध में सभी विभागीय औपचारिकताएं पूरी होने के उपरांत सैक्टर 9, फतेहाबाद में नये भवन का निर्माण कार्य आरम्भ कर दिया जाएगा।  स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि जिला नागरिक अस्पताल, अम्बाला शहर में चिकित्सा अधिकारियों के 55 पद स्वीकृत हैं, जिनमें से 46 पदों पर चिकित्सक कार्यरत हैं। इसके अलावा, 7 चिकित्सा अधिकारी जिला नागरिक अस्पताल, अम्बाला शहर से बाहर प्रतिनियुक्ति पर हैं। हरियाणा के शहरी स्थानीय निकाय मंत्री अनिल विज ने कहा कि प्रदेश में किसी भी क्षेत्र में नगर निगम बनाने के लिए 3 लाख की आबादी का होना आवश्यक है। नगरपालिका अधिनियम के तहत इससे कम आबादी वाले क्षेत्र को नगर निगम का दर्जा नहीं दिया जा सकता है। विज ने आज हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र के दौरान एक प्रश्न के उत्तर में बोलते हुए कहा कि वर्ष 2011 की जनगणना अनुसार नगर परिषद, रेवाड़ी की जनसंख्या 1.43 लाख थी जोकि वर्ष 2018 में 1.86 लाख हो गई थी। इसलिए वर्तमान परिस्थितियों के आधार पर नगर परिषद, रेवाड़ी को नगर निगम का दर्जा नहीं दिया जा सकता।
हरियाणा के शिक्षा एवं पर्यटन मंत्री कंवरपाल ने किसानों पर लाठीचार्ज किये जाने के आरोप को सिरे से खारिज करते हुए कांग्रेस से पूछा है कि बताया जाए कि लाठीचार्ज कहां पर हुआ? उन्होंने कहा कि अगर लाठीचार्ज हुआ होगा तो किसी को चोट भी आई होगी ,आप उसका मेडिकल सर्टिफिकेट प्रस्तुत करें। शिक्षा मंत्री ने विधानसभा में चर्चा के दौरान कांग्रेस विधायक श्रीमती किरण चौधरी को उनके द्वारा लगाए गए आरोपों पर घेरते हुए उन्हें कठघरे में खड़ा किया। शिक्षा मंत्री ने कहा कि लाठीचार्ज का इतिहास कांग्रेस का रहा है।
हरियाणा के परिवहन मंत्री मूलचंद शर्मा ने कहा प्रदेश में जरूरत के हिसाब से पर्याप्त संख्या में बसें चलवाई जाएंगी और लोगों को किसी भी तरह की परेशानी नहीं होने दी जाएगी। मूलचंद शर्मा ने विधानसभा के बजट सत्र के दौरान पूछे गए एक प्रश्न के उत्तर में सदन को अवगत करवाया कि पृथला विधानसभा क्षेत्र में पलवल से अमरपुर, मोहना, छायंसा, अटेली से बल्लभगढ़, बल्लभगढ़ से समयपुर करनेरा, सिकरोना, भानकपुर, नोहला तथा सेहराला, पृथला से पलवल मार्गों पर बस सेवा पहले से ही चलाई जा रही हैं। परिवहन मंत्री ने बताया कि वर्तमान में परिवहन समिति की 18 और राज्य परिवहन की 19 बसों का पृथला विधानसभा हलके के विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रों में संचालन करवाया जा रहा है। इनमें फरीदाबाद डिपो की 17 और पलवल डिपो की 2 बसें शामिल हैं।
हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा कि बरोदा विधानसभा क्षेत्र में विकास कार्यों की कमी नहीं रहने दी जायेगी । डिप्टी सीएम, जिनके पास विकास एवं पंचायत विभाग का प्रभार भी है, आज विधानसभा में बरोदा विधानसभा क्षेत्र के विधायक द्वारा कुछ गांवों में गंदे पानी की निकासी से संबंधित पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे। दुष्यंत चौटाला ने बताया कि बरोदा विधानसभा क्षेत्र के गांव बुटाना, गंगाना, शामड़ी, चिड़ाना तथा मुडलाना में ‘रिवर यमुना एक्शन प्लान’ तथा ‘स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण’ योजना के दूसरे फेज के तहत काम चल रहा है। इस प्रोजेक्ट की लागत 2.80 करोड़ रुपये है। इसी प्रकार, गांव भावड़ व रिंढ़ाना में ‘रिवर यमुना एक्शन प्लान’ के तहत ही गंदे पानी की निकासी का एस्टीमेट बनाया गया है और इन कार्यों पर 1.85 करोड़ रुपये लागत आएगी। विकास कार्य जल्द शुरू किए जाएंगे। उन्होंने आगे जानकारी दी कि गांव कथुरा, बरोदा, भावड़, घरड़वाल, तथा रिंढ़ाना में अतिरिक्त कार्य करवाने के लिए शीघ्र ही ई-टैंडर करवाए जाएंगे। उपमुख्यमंत्री ने सदन में प्रश्नकर्ता विधायक को आश्वासन दिया कि बरोदा विधानसभा क्षेत्र में विकास कार्यों को तेजी से करवाया जाएगा।
हरियाणा के अनुसूचित जाति एवं पिछड़े वर्ग कल्याण मंत्री डॉ. बनवारी लाल ने कहा कि राज्य में गत दो वर्षों में अनुसूचित जाति उप-योजना (एससीएसपी) के तहत 14977.47 करोड़रुपये की राशि आवंटित की गई है जिसमें से वर्ष 2018-19 में 7367.29 करोड़ रुपये और वर्ष 2019-20 में 7610.18 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई। डॉ. बनवारी लाल आज यहां विधानसभा बजट सत्र के दौरान अनुसूचित जाति वर्ग के लिए कुल आवंटित राशि के संबंध में लाए गए एक प्रश्न का उत्तर दे रहे थे। उन्होंने सदन को अवगत कराया कि अनुसूचित जाति उप-योजना के अंतर्गत विभिन्न विभागों की योजनाओं की पहचान और आबंटन के लिए योजना विभाग जिम्मेदार हैं और यह कार्य नीति आयोग के योजनाओं और राशि के चयन के लिए विस्तृत मापदंडों के अनुसार किया जाता है जो एससीएसपी के अन्तर्गत आते हैं। योजना विभाग एससीएसपी कार्यान्वयन से सम्बन्धित सभी विभागों को राशि आबंटित करता है। अनुसूचित जाति एवं पिछड़े वर्ग कल्याण विभाग योजनाओं के क्रियान्वयन के लिए निगरानी करने वाला नोडल विभाग है। उन्होंने बताया कि नीति आयोग, भारत सरकार के अनुसार अनुसूचित जाति उप-योजना को तैयार, कार्यान्वयन और निगरानी की जा रही है। जन जाति उप-योजना राज्य द्वारा तैयार नहीं की जाती है, क्योंकि हरियाणा के लिए कोई अनुसूचित जन जाति अधिसूचित नहीं है। इसके अतिरिक्त, उन्होंने वर्ष 2016 से लेकर वर्ष 2020 तक अनुसूचित जन जाति के विकास पर हुए खर्च का ब्यौरा भी दिया।हरियाणा के शिक्षा मंत्री कंवरपाल ने कहा है कि हरियाणा सरकार दक्षिण हरियाणा के नूंह जिले में शैक्षणिक सुविधाएं बढ़ाए जाने के प्रति गंभीर है।  नूंह जिले में राजकीय विश्वविद्यालय खोले जाने का प्रस्ताव विचाराधीन है । शिक्षा मंत्री कंवरपाल ने हरियाणा विधानसभा में यह जानकारी दी। वे विधानसभा के बजट सत्र में विधायकों के प्रश्नों का जवाब दे रहे थे। शिक्षा मंत्री ने नूंह में शिक्षा के क्षेत्र में पिछड़ेपन के लिए पूर्व की सरकारों को जिम्मेदार बताते हुए कहा वर्तमान हरियाणा सरकार नूंह जिले में शिक्षा के प्रसार के लिए आधारभूत ढांचा विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है। इसी सोच को मूर्तरूप देते हुए नूंह में राजकीय विश्वविद्यालय स्थापित करने का प्रस्ताव विचाराधीन है। विश्वविद्यालय के लिए भूमि की तलाश की जा रही है। इसके लिए जिला उपायुक्त से जमीन की उपलब्धता सम्बन्धी रिपोर्ट मांगी गई है। उच्च शिक्षा परिषद इसकी व्यवहार्यता की जांच कर रही है। व्यवहार्यता का पता चलने के बाद आगे की कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। शिक्षा मंत्री ने सदन के पटल पर जानकारी रखते हुए बताया कि इस समय प्रदेश में 21 स्टेट यूनिवर्सिटी और एक सेंट्रल यूनिवर्सिटी स्थापित हैं। इनका जिलावार विवरण प्रस्तुत करते हुए उन्होंने बताया कि महेंद्रगढ़ के पाली गांव में केंद्रीय विश्वविद्यालय है। भिवानी में चौधरी बंसीलाल विश्वविद्यालय, गुरुग्राम में गुरुग्राम विश्वविद्यालय, जींद में चौधरी रणबीर सिंह विश्वविद्यालय, कुरुक्षेत्र में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय और श्रीकृष्ण आयुष विश्वविद्यालय, कैथल में महर्षि वाल्मीकि संस्कृत विश्वविद्यालय, मूंदड़ी में, रेवाड़ी में इंदिरा गांधी विश्वविद्यालय, मीरपुर (रेवाड़ी), रोहतक में महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय, पंडित बीड़ी शर्मा विश्वविद्यालय, स्वास्थ्य विज्ञान और पंडित लखमीचन्द विजुअल आर्ट विश्वविद्यालय स्थापित हैं। सिरसा में चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय, सोनीपत में भगत फूल सिंह महिला विश्वविद्यालय (खानपुर कलां),  डॉक्टर बीआर अम्बेडकर राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय (सोनीपत) और दीनबन्धु छोटूराम विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (मुरथल) स्थापित हैं। हिसार में गुरु जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय और लाला लाजपत राय पशु चिकित्सा विश्वविद्यालय, फरीदाबाद में जेसी बोस विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, पलवल में श्री विश्वकर्मा कौशल विश्वविद्यालय और करनाल में पंडित दीनदयाल उपाध्याय स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय एवं महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय (अंजनथली, करनाल) स्थापित हैं।
हरियाणा के बिजली मंत्री रणजीत सिंह ने कहा कि जीवन चानन कॉलेज रोड, असंध में नया 33 केबी बिजली सबस्टेशन निर्मित करने का कार्य 20 मार्च, 2020 से प्रगति पर है तथा अब तक इसका 60 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका  है। उन्होंने बताया कि इस इस सबस्टेशन के पूर्ण होने की सम्भावित तिथि मई 2021 है। बिजली मंत्री आज यहां विधानसभा बजट सत्र के दौरान असंध शहर में 33 केबी बिजली घर के निर्माण के संबंध में लगाए गए एक प्रश्न का उत्तर दे रहे थे।